Monsoon diseases: मौसम में हो रहे चेनजिस के चलते अब स्वाइन फ़्लू जैसी बीमारियों का खतरा बढ़ता नजर आ रहे है , जिसके चलते हैल्थ विभाग ने कल ही एडवाइजरी जारी की थी । फ्लू की पुष्टि हो गई है। विभाग के अनुसार देश शहरों में स्वाइन फ़्लू के केस कन्फर्म हुए है। लेकिन ज्यादा की परेशानी की बात नहीं यह नार्मल फ्लू है जो मौसमी में होता है। बरसाती मौसम में स्वाइन फ्लू डेंगू मलेरिया, चिकनगुनिया, समेत कई वेक्टर बोर्न डिजीज यानि पानी से होने वाली बीमारियों का खतरा बना रहता है।

 मानसून के बीच बड़ी तेजी से फैल रही ये बीमारी, रखें ध्यान, जारी हुई advisory

मानसून के दस्तक से पहले ही विभाग की तरफ से लोगों को इसकी जानकारी दी जा रही है की कैसे अपने घर में कही पर भी पुराना या बारिश का भरा हुआ पानी नहीं रखना है छत में ख़ास करके कही पर भी बारिश का पानी नहीं भरा होना चाहिए यानि की ठहरे हुए पानी में डेंगू पैदा होता है तो ऐसे में डेंगू होने का खतरा बढ़ जाता है। इसीलिए जितना हो सके अपना ध्यान रखें फुल कपड़े पहने और घर में गुड नाईट या मछरमारने को लेकर कोई भी दवाई का यूज करें। ताकि बीमारियों से बच सकें।

स्वाइन फ़्लू के लक्षण

स्वाइन फ़्लू के लक्षण में सबसे पहले आपको जुकाम होता है जुकाम के बाद 100 डिग्री तक का बुखार आता है भूख नहीं लगती है और नाक में से पानी निकलता है ऐसे में आप तुरंत ही डॉ. के पास जाए। क्योंकि स्वाइन फ़्लू दूसरे व्यक्ति के टच में आने से भी हो जाता है। स्वाइन फ़्लू व्यक्ति जब भी छीकता है तो यह वायरस दूसरे व्यक्ति के अंदर प्रवेश कर जाता है जिसके चले दूसरा व्यक्ति भी बीमारी से ग्रषित हो जाता है। इसीलिए जितना हो सके अपना बचाव करें ज्यादा से ज्यादा पानी पिए और मास्क लगा के रखे। अगर आपको बार बार छींक आ रही है तो टिसू पेपर का यूज़ करें और यूज के बाद उसे डस्टबिन में फेक दे।

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