Janamashtami 2024 : जन्माष्टमी भाद्रपद माह के कृष्ण पक्ष को मनाई जाती है। जन्माष्टमी का त्यौहार भारत में बड़ी ही धूम धाम से मनाया जाता है। इस बार जन्माष्टमी का त्यौहार 26 अगस्त 2024 को मनाया जाएगा । माना जाता है की भादो मास की अष्टमी तिथि को रोहिणी नक्षत्र में रात को भगवान् श्री कृष्ण का जन्म हुआ था। देश और विदेश में जन्माष्टमी त्यौहार को मनाया जाता है और इस दिन श्री कृष्ण की पूजा की जाती है।
जन्माष्टमी के दिन रोहिणी नक्षत्र : रोहिणी नक्षत्र 26 अगस्त दोपहर 3:55 से लेकर 27 अगस्त को सुबह 5:57 तक रहने वाला है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार श्री कृष्ण की बाल रूप की पूजा करने से तथा उनको घर में रखने से सारी मनोकामनएं पूरी होती है तथा घर में सुख शांति आती है। अगर किसी महिला को पुत्र प्राप्ति न हो रही हो तो वो श्री कृष्ण के बाल रूप की पूजा करती है माना जाता है की उनकी गोद जल्दी ही भर जाती है।
जन्माष्टमी में किस चीज का लगाया जाता है भोग
श्री कृष्ण को माखन के साथ मिश्री खाना बहुत पसंद था। इसीलिए जन्माष्टमी को भक्तों द्वारा श्री कृष्ण को माखन मिश्री का भोग लगा उनको प्रश्न किया जाता है। शास्त्रों की माने तो जब तक भोग में तुलसी न रखी जाए तब तक भगवान् भोग को स्वीकार नहीं करते है।
जन्माष्टमी पर व्रत का महत्व
हिन्दू धर्म में जन्माष्टमी को बहुत ही धूम धाम से मनाया जाता है। माना जाता है की इस दिन श्री कृष्ण का जन्म हुआ था। जमानष्टमी पर व्रत रखने से माना जाता है की सारे दुःख दर्द दूर होते है और घर में खुशियां आती है। इसीलिए जन्माष्टमी पर भक्तों द्वारा श्री कृष्ण को प्रश्न करने के लिए व्रत रखा जाता है।